घर की जिम्मेदारी उठाने के लिए मैकेनिक बनी आदिलक्ष्मी

हैदराबाद की महिला मैकेनिक आदिलक्ष्मी ने अपने पति का सहारा बनने के लिए मैकेनिक का काम चुना। फिलहाल आदिलक्ष्मी के हौसले की तारीफ एमएलसी के. कविता ने की है। उन्होंने कहा कि पुरुष प्रधान माने जाने वाले मैकेनिक के काम को आदिलक्ष्मी ने करके मिसाल कायम की है। आदिलक्ष्मी अपने पति के साथ कोठागुडेम के पास सुजाता नगर में ऑटोमोबाइल की दुकान चलाती हैं। उनके परिवार में दो बेटियां हैं जिनकी उम्र 9 और 7 साल है। आदिलक्ष्मी ने अपनी दुकान के लिए दो मशीन की मांग की थी। के. कविता ने आदिलक्ष्मी की मदद की इच्छा व्यक्त की है। उन्होंने इस परिवार को हैदाराबाद आने का निमंत्रण दिया और उनके काम की तारीफ भी की। कविता इस परिवार से मिली और उनकी दोनों बेटियों की अच्छी शिक्षा दिलाने का आश्ववासन भी दिया। कविता इस महिला के साहस को सलाम करती हैं। आदिलक्ष्मी की बीस साल की उम्र में शादी हो गई थी। परिवार का खर्च चलाने के लिए उन्हें अपने पति के साथ मिलकर ऑटोमोबाइल की दुकान खोलना पड़ी। वे जब मैकेनिक का काम करती हैं तो ये अंदाजा लगाना मुश्किल है कि ये काम कोई पुरुष कर रहा है या महिला। वे अपने काम को बखूबी अंजाम देती हैं।

(साभार – दैनिक भास्कर)

शुभजिता

शुभजिता की कोशिश समस्याओं के साथ ही उत्कृष्ट सकारात्मक व सृजनात्मक खबरों को साभार संग्रहित कर आगे ले जाना है। अब आप भी शुभजिता में लिख सकते हैं, बस नियमों का ध्यान रखें। चयनित खबरें, आलेख व सृजनात्मक सामग्री इस वेबपत्रिका पर प्रकाशित की जाएगी। अगर आप भी कुछ सकारात्मक कर रहे हैं तो कमेन्ट्स बॉक्स में बताएँ या हमें ई मेल करें। इसके साथ ही प्रकाशित आलेखों के आधार पर किसी भी प्रकार की औषधि, नुस्खे उपयोग में लाने से पूर्व अपने चिकित्सक, सौंदर्य विशेषज्ञ या किसी भी विशेषज्ञ की सलाह अवश्य लें। इसके अतिरिक्त खबरों या ऑफर के आधार पर खरीददारी से पूर्व आप खुद पड़ताल अवश्य करें। इसके साथ ही कमेन्ट्स बॉक्स में टिप्पणी करते समय मर्यादित, संतुलित टिप्पणी ही करें।