नृत्य की दुनिया में रंग भरती रहीं मृणालिनी साराभाई

मशहूर नृत्यांगना मृणालिनी साराभाई का गुरुवार को 97 वर्ष की आयु में अहमदाबाद में निधन हो गया। उन्होंने गुरु रवींद्रनाथ टैगोर की देखरेख में 1938 में शांति निकेतन से पढ़ाई-लिखाई की।aशांति निकेतन से शिक्षा हासिल करने के बाद वह कुछ समय के लिए अमरीका चली गईं. भारत लौट कर आने पर भरतनाट्यम और कथकली नृत्य का प्रशिक्षण लिया। मृणालिनी साराभाई का विवाह भारत में अंतरिक्ष कार्यक्रम के जनक डॉक्टर विक्रम साराभाई के साथ 1942 में हुआ। साल 1947 में उनकी पहली संतान कार्तिकेय का जन्म हुआ। उन्होंने कथकली की अपनी पहली प्रस्तुति दिल्ली में दी. उनके नृत्य की सराहना पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू भी किया करते थे। मां की तरह उनकी बेटी मल्लिका साराभाई ने भी नृत्य को अपनाया। मृणालिनी साराभाई ने 1949 में दर्पण संस्थान की स्थापना की और बच्चों को शास्त्रीय नृत्य का प्रशिक्षण देना शुरू किया।

 

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